अधिकार और कर्तव्यों का बेहतर समन्वय जरूरी: मुख्यमंत्री अशोक गहलोत


कार्यालय संवाददाता


जयपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि मानव सेवा के लिए स्वास्थ्य सेवाओं से बढ़कर कोई कार्य नहीं हो सकता। किसी भी व्यक्ति के लिए पहला सुख निरोगी काया होता है। उन्होंने कहा कि हर गांव और ढाणी में भी व्यक्ति स्वस्थ रहे, राज्य सरकार इस सोच के साथ कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि अधिकार और कर्तव्यों के बेहतर समन्वय से ही देश प्रगति कर सकता है। जनता और सरकार साथ मिलकर काम करें, तो बेहतर परिणाम सामने आएंगे। ___ गहलोत गुरूवार को निम्बाहेड़ा में हरीश आंजना एजुकेशन सोसाइटी द्वारा राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय परिसर में आयोजित निःशुल्क शल्य एवं नेत्र चिकित्सा शिविर के शुभारम्भ के अवसर पर बोल रहे थे। यह शिविर गोपी बाई आंजना एवं भैरूलाल आंजना की पुण्यस्मृति में आयोजित किया गया। उन्होंने कहा कि सरकार का प्रयास है कि पूरे प्रदेश में चिकित्सा एवं स्वास्थ्य का ढांचा एक जैसा हो। राजस्थान में मेडिकल सेवाओं का विस्तार करने की दिशा में हर जिले में एक मेडिकल कॉलेज खोलने के प्रयास किए जा रहे हैं, ताकि लोगों को उत्तम स्वास्थ्य सुविधाएं मिल सकें। मुख्यमंत्री ने कहा कि बेहतर जीवनशैली से बीमारियां होने की सम्भावना कम हो जाती है। आमजन को निरोगी रहने के लिए जागरूक रहना चाहिए। उन्होंने कहा कि आज मेडिकल साइंस इतनी तरक्की कर चुका है कि किसी भी बीमारी का इलाज संभव है। उन्होंने कहा कि मौसमी बीमारियों से बचने का सबसे अच्छा उपाय है कि स्वच्छता रखी जाए। गहलोत ने युवा पीढ़ी से आह्वान किया कि वे नशे से दूर रहें। उन्होंने कहाकि नशे से न केवल स्वास्थ्य बिगड़ता है, बल्कि पारिवारिक माहौल भी खराब होता है। गहलोत ने कहा कि आज युवाओं के लिए रोजगार और नौकरियां सर्वाधिक महत्वपूर्ण हैं। सरकार के लिए यह आवश्यक है कि आम लोगों को आर्थिक मजबूती मिले, तभी सरकार को मजबूती मिलेगी। उन्होंने कहा कि राजस्थान सरकार ने कई जन कल्याणकारी योजनाएं शुरू की हैं। इन योजनाओं के बेहतर क्रियान्वयन से लोग आर्थिक रूप से सशक्त होंगे। उन्होंने कहा कि अच्छी सड़कें, बिजली, शिक्षा, स्वास्थ्य सुविधाएं सरकार का महत्वपूर्ण एजेंडा है। विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सीपी जोशी ने कहा कि चिकित्सा क्षेत्र में बहुत तरक्की और अनुसंधान हुआ है। आज युवा पीढ़ी को अधिक सजग होने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, आईटी और तकनीकी शिक्षा का जमाना है। ग्रामीण क्षेत्र के युवाओं को रोजगार प्राप्त करने के लिए शहरी क्षेत्र के युवाओं के साथ कॉम्पीटिशन करना पड़ता है। अतः उन्हें भी तकनीकी रूप से अधिक मजबूत होना चाहिए। शिक्षा की क्वालिटी पर विशेष जोर दिया जाना चाहिए, ताकि देश की युवा पीढ़ी ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में एक साथ कदम मिलाकर चल सके। सहकारिता मंत्री उदय लाल आंजना ने भी कार्यक्रम को सम्बोधित किया। इस अवसर पर कृषि एवं पशुपालन मंत्री लालचंद कटारिया, राजस्व मंत्री हरीश चौधरी, गृह रक्षा एवं नागरिक सुरक्षा राज्यमंत्री भजन लाल जाटव, मोटर गैराज राज्यमंत्री राजेन्द्र यादव, पूर्व विधायक सुरेंद्र सिंह जाड़ावत, नगर परिषद सभापति संदीप शर्मा एवं उपसभापति कैलाश पंवार सहित अन्य गणमान्य जन उपस्थित रहे।


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