तकनीकी प्रशिक्षण द्वारा बाल देखरेख संस्थाओं के बच्चों को करे भविष्य के लिए तैयारः अखिल अरोड़ा
कार्यालय संवाददाता
जयपुर। बाल देखरेख संस्थाओं में रह रहे बच्चों को सही समय पर तकनीकी एवं व्यावसायिक प्रषिक्षण देकर उन्हें भविष्य के लिए तैयार करना चाहिए। विभिन्न गृहों में आधुनिक तकनीक के प्रयोग से बच्चों को मोबाइल द्वारा फिल्म बनाने और भारतीय फिल्म एवं टेलीविजन संस्थान, पुणे के माध्यम से विषेष व्यावसायिक प्रषिक्षण दिलवाया जा रहा है। सरकार द्वारा इस संबंध में चलाई जा रही योजनाओं के साथ बेहतर तालमेल बिठाकर बाल देखरेख संस्थाओं को बच्चों को सर्वांगीण विकास करना चाहिए। सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग के प्रमुख शासन सचिव, अखिल अरोड़ा ने बाल अधिकारिता विभाग, सेव द चिल्ड्रन एवं बाल सन्दर्भ केन्द्र के संयुक्त तत्वाधान में बाल संरक्षण प्रणाली को सुदृढ़ करने हेतु दक्षता आधारित प्रषिक्षण कार्यक्रम प्रदेष भर से आये जिला बाल संरक्षण अधिकारियों एवं अधीक्षकों को संबोधित करते हुए कहा कि अधिकारी भौगोलिक परिस्थितियों को बाधा न बनाये और बच्चों के सर्वोहित को मध्यनजर रखते हुए कार्य करे। वीना प्रधान, आयुक्त एवं शासन सचिव, बाल अधिकारिता विभाग ने कहा कि यह चार दिवसीय दक्षता आधारित प्रषिक्षण कार्यक्रम हमारे अधिकारियों के लिए उपयोगी सिद्ध होगा और वह अपने रोजमर्रा के कार्यो में गुणवत्ता लाने में सफल होंगे और समेकित बाल संरक्षण योजना के प्रभावी क्रियान्वयन करने में मदद मिलेगी। सेव द चिल्ड्रन के उप निदेषक श्री संजय शर्मा ने बताया कि इस प्रकार के प्रषिक्षण का प्रयोग झारखण्ड, उड़ीसा एवं पष्चिमी बंगाल राज्यों से किया गया, जंहा यह उपयोगी रहा और अब इसे राजस्थान में क्रियान्वित किया जा रहा है, जो प्रदेष के बाल संरक्षण संरचनाओं को सुदृढ़ करते हुए बच्चों का संरक्षण सुनिष्चित करने में सहायक होगा। कार्यक्रम में बाल सन्दर्भ केन्द्र की प्रमुख श्रीमती राजेष यादव, सेवानिवृत आईएएस द्वारा सेव द चिल्ड्रन एवं बाल सन्दर्भ केन्द्र के मध्य दक्षता आधारित प्रषिक्षण कार्यक्रम के बारे में अधिकारियों को बताया कि बच्चों को सुरक्षित वातावरण प्रदान करने हेतु इससे सीधे तौर पर जुड़े अधिकारियों की क्षमता तथा दक्षता का विकास होना अतिआवष्यक है। सेव द चिल्ड्रन के मधुमिता पुरकायस्थ ने इस प्रषिक्षण के महत्वपूर्ण पहलुओं के बारे में जानकारी दी और ओम आर्य ने चाइल्ड राइट्स फर चेन्ज परियोजना के बारे में बताया और इस प्रषिक्षण के आगामी योजना के बारें में बताया।
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