केन्द्र की मोदी सरकार आरक्षण समाप्त करने के पक्ष में नहीं: डाॅ. सतीश पूनियां
परिवहन विभाग में मासिक बंदी का खुलासा
सरकार के मुंह पर तमाचा: डाॅ. पूनियां
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गहलोत सरकार के सवा साल में
प्रदेश भ्रष्टाचार से हुआ बदहाल: डाॅ. पूनियां
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मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री के मध्य
चल रहा सत्ता का संघर्ष चरम पर: डाॅ. पूनियां
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जयपुर, 17 फरवरी 2020। भाजपा प्रदेशाध्यक्ष डाॅ. सतीश पूनियां ने आज सोमवार को विधानसभा परिसर में पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत जनता को गुमराह करने की भाषा बोल रहे हैं। उनका यह बयान असंवैधानिक ही नहीं निंदनीय भी है कि नोटबंदी की तरह आरक्षण खत्म हो जाएगा। भाजपा न कभी आरक्षण खत्म करने के पक्ष में थी और ना ही केन्द्र की भाजपा सरकार कभी आरक्षण खत्म करेगी।
डाॅ. पूनियां ने कहा कि देश में पहली बार वंचितों और शोषितों को आरक्षण बाबासाहेब अंबेडकर की अध्यक्षता वाली संविधान पीठ ने दिया। जिसमें सिर्फ कांग्रेस का ही योगदान नहीं है। इसके बाद अन्य पिछड़ा वर्ग को आरक्षण देने के लिए जनता पार्टी ने मंडल कमीशन बनाया। 1990 में भाजपा समर्थित वीपी सिंह की सरकार ने मंडल कमीशन लागू कर अन्य पिछड़ा वर्ग को आरक्षण दिया। अटल बिहारी वाजपेयी जी ने इस आरक्षण को आगे बढ़ाया और मोदी जी ने सवर्णों को आर्थिक आधार पर आरक्षण दिया। कांग्रेस का बार-बार यह विलाप करना कि भाजपा आरक्षण समाप्त कर देगी, यह वंचित और शोषित वर्ग को गुमराह करने का षड्यंत्र मात्र है। हाल ही में आया सर्वोच्च न्यायालय का निर्णय, केवल उत्तराखंड राज्य में दायर याचिका के लिए ही है, न तो यह नीतिगत निर्णय है और ना ही इससे आरक्षण समाप्त होने वाला है, साथ ही अन्य राज्य आरक्षण को लेकर के अपनी नीति बनाने के लिए स्वतंत्र है। इस निर्णय से केन्द्र की मोदी सरकार का कोई लेना देना भी नहीं है।
डाॅ. पूनियां ने परिवहन विभाग में पकड़े गए मासिक बंधी के भ्रष्टाचार को लेकर जनता की ओर से सवाल करते हुए कहा कि सरकार का अभी से ही यह हाल है तो, कैसे निकलेंगे बाकी के चार साल। डाॅ. पूनियां ने कहा कि इस कालिख से यह सरकार बच नहीं पाएगी।
डाॅ. पूनियां ने कांग्रेस के सत्ता और संगठन में समन्वय पर तंज कसते हुए कहा कि यह सरकार धड़ों में बंटी हुई साफ-साफ नजर आ रही है। सरकार और संगठन में समन्वय बिठाने के लिए जो समिति बनाई थी, उसी समिति के आधे लोग बैठक में उपस्थित नहीं हुए। मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री के मध्य चल रहा सत्ता का संघर्ष चरम पर है, उनके मंत्रियों के बीच में चल रही आपस की खींचतान, विधायकों के मंत्रियों पर आरोप और मंत्रियों का अपने विभाग के अधिकारियों पर उनके मनमुताबिक काम न करने का आरोप सरकार की कलई खोलता है। डाॅ. पूनियां ने कहा कि कितने समन्वय से सरकार चल रही है, यह जनता देख रही है।
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