भाजपा में शामिल होने के बाद ज्योतिरादित्य सिंधिया पहली बार भोपाल पहुंचे, रोड शो शुरू किया, कार्यकर्ताओं ने सड़क पर फूल बिछाए
एजेंसी
भोपाल। भाजपा में शामिल होने के बाद ज्योतिरादित्य सिंधिया पहली बार भोपाल पहुंचे। गाड़ी की छत पर बैठकर उन्होंने कार्यकर्ताओं का अभिवादन स्वीकार कियाएयरपोर्ट पर बड़ी संख्या में भाजपा कार्यकर्ता और सिंधिया समर्थक उनके स्वागत के लिए पहुंचे। समर्थक अपने साथ ज्योतिरादित्य पिता माधवराव सिंधिया की तस्वीरें लाए। सिंधिया ने एयरपोर्ट से शहर में रोड शुरू कर दिया है। वे अरेरा कॉलोनी स्थित भाजपा कार्यालय दीनदयाल परिसर पहुंचकर राजमाता विजयाराजे सिंधिया, कुशाभाऊ ठाकरे और पंडित दीनदयाल उपाध्याय की प्रतिमा पर माल्यार्पण करने के बाद कार्यकर्ताओं को संबोधित करेंगे। सिंधिया के स्वागत के लिए भाजपा कार्यकर्ताओं ने पूरे शहर में बड़े-बड़े होर्डिंग लगाए हैं। भाजपा कार्यालय को भी सजाया गया है। इसी बीच, सीएम हाउस के पास पॉलिटेक्निक चौराहे पर सिंधिया के स्वागत में लगे पोस्टरों पर कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने काला रंग डाल दिया और उन्हें फाड़ भी दिया। बताया जा रहा कि सिंधिया का यह पोस्टर सीएम कमलनाथ के पोस्टर के ऊपर लगाया गया थाराज्यपाल लालजी टंडन के भी लखनऊ भोपाल लौटने की सूचना है।
राज्यपाल के आने पर सियासत तेज होगी: राज्यपाल टंडन लखनऊ से वापस लौटने के बाद मध्य प्रदेश का राजनीतिक घटनाक्रम तेजी से बदलेगा। सबसे पहले तो उन छह मंत्रियों पर फैसला होगा, जिन्हें हटाने की सिफारिश मुख्यमंत्री कमलनाथ ने दो दिन पहले की थी। 16 फरवरी से विधानसभा का बजट सत्र शुरू हो रहा है, जो गहमागहमी वाला कांग्रेस विधायक शुक्ला इंदौर लौटे: कांग्रेस विधायक संजय शुक्ला गुरुवार को जयपुर से इंदौर पहुंचे। कहा- वे निजी कारणों से वापस आए हैं। उनके पिता और बड़े भाई भाजपा में ही हैं और इंदौर के बड़े नेता माने जाते हैं। उनके भाजपा में शामिल होने की सूचना आई थी, जिसका विधायक ने खंडन किया था।
दिग्विजय सिंह ने ट्वीट कियाः मध्यप्रदेश के कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने कहा, भगवान से प्रार्थना करता हूं कि सिंधिया को भाजपा में सुरक्षित रखें।
सिंधिया का स्वागत याद रहेगाः राज्य के पूर्व गृह मंत्री भूपेंद्र सिंह ने कहासिंधिया का स्वागत याद रखा जाएगा। कमलनाथ सरकार सरकार अल्पमत में है, उन्हें इस्तीफा देना चाहिए। सदन में विश्वास प्रस्ताव का सवाल ही नहीं उठता। हम सरकार बनाएंगे और अपने घोषणापत्र के अनुसार अपने काम करेंगे। पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह
राज्यसभा के लिए नामांकन दाखिल किया। हालांकि, तब तक कांग्रेस ने उन्हें राज्यसभा का उम्मीदवार घोषित नहीं किया था। प्रदेश कांग्रेस की मीडिया प्रभारी शोभा ओझा ने कहा था कि पार्टी उन्हें उम्मीदवार घोषित कर ही देगी।
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