दशलक्षण पर्युषण महापर्व उत्तम त्याग धर्म के रूप में मनाया

 दशलक्षण पर्युषण महापर्व उत्तम  त्याग धर्म के रूप में मनाया                                                                                                                               झुमरीतिलैया /कोडरमा। जैन धर्म का दशलक्षण पर्युषण महापर्व का आठवां दिन रविवार को उत्तम त्याग धर्म के रूप में मनाया गया।  सर्वप्रथम प्रातः भगवान का अभिषेक और शांति धारा विश्व शांति मंत्रों के जल से सुमित जैन सेठी प्रदीप जैन पाटनी पंडित अभिषेक जैन शास्त्री ने किया तत्पश्चात जैन समाज के पंडित अभिषेक शास्त्री ने उत्तम त्याग धर्म की चर्चा करते हुए कहा कि त्याग जीवन को महान बनाता है त्याग करके ही आत्म कल्याण का मार्ग प्रशस्त हो सकता है। मनुष्य के अंदर क्रोध मान माया लोभ जैसे विकार गंदगी का आत्मा से छूट जाना ही त्याग है। उत्तम त्याग करने वाले व्यक्ति को देवता भी नमस्कार करते हैं उत्तम त्याग करके अपने जीवन का उद्धार किया जा सकता है दान पराधीन है परंतु त्याग स्वाधीन है म।नुष्य परिग्रह मैं बहुत अधिक धन संपदा को प्राप्त कर लेता है परंतु उसकी अधिकता के कारण दुखी रहता है परंतु जब स्वयं उसका त्याग करता है तो उसे सुख की अनुभूति होती है अर्जन के साथ-साथ विसर्जन भी जरूरी है प्रातः कालीन अभिषेक शांतिधारा एवं संध्या आरती और सांस्कृतिक कार्यक्रम जूम एप के द्वारा सुमित जैन सेठी राजीव जैन छाबड़ा प्रशम सेठी के द्वारा कराया जा रहा है राजकुमार जैन अजमेरा के द्वारा प्रतिदिन प्रश्न मंच प्रतियोगिता की जा रही है जैन महिला समाज की आशा गंगवाल और रीता जैन सेठी के द्वारा बच्चों का सांस्कृतिक कार्यक्रम उनकी देखरेख में कराया जा रहा है निवर्तमान वार्ड पार्षद पिंकी जैन जैन समाज के अध्यक्ष विमल जैन बड़जात्या मंत्री ललित जैन सेठी उपाध्यक्ष प्रदीप जैन पांडिया कमल सेठी उप मंत्री राज छाबड़ा जैन समाज के मीडिया प्रभारी नवीन जैन,राज कुमार अजमेरा ने लोगों को पर्युषण महापर्व की शुभकामनाएं व्यक्त की। 


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